Blog

अनिल रस्तोगी : विज्ञान और अभिनय की दुनिया के महारथी

विभिन्न गुणों का संयोग

👆डॉ. अनिल रस्तोगी जी के साथ हुए पूरे संवाद को सुनें।

प्रत्येक व्यक्ति अपने अंदर अलग अलग गुण लेकर पैदा होता है। कोई कलाकार होता है, तो कोई वैज्ञानिक। कोई राजनीतिज्ञ, तो कोई सामाजिक कार्यकर्ता। कोई व्यापारी, तो कोई कर्मचारी। अलग-अलग इंसान में अलग-अलग गुण। जब यह गुण विशेष स्तर पर पहुंच जाते हैं, तो वह व्यक्ति विशेष हो जाता है परंतु दो मुख्य गुण एक ही व्यक्ति में पाया जाना, असामान्य बात है। वह भी प्रकृति में एक दूसरे से विपरीत गुण! एक गुण विज्ञान का और एक कला का।यह असामान्य गुण अनिल रस्तोगी जी में देखने को मिलते हैं।

राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू जी ने आपको 2023 के अकादमी पुरस्कार (अभिनय) से सम्मानित किया।

वैज्ञानिक से कलाकार तक की यात्रा

जहां विज्ञान, यथार्थ को लेकर चलता है, वहीं कला, भावनाओं से जुड़ी होती है। विपरीत होते हुए भी ये दोनों गुण, दोनों विशेषताएं एक व्यक्ति में समाहित हैं। वह व्यक्तित्व है अनिल रस्तोगी जी का। आपने जीवन की शुरुआत एक वैज्ञानिक के रूप में की, यानी विज्ञान को यथार्थ मानकर अपना जीवन आरंभ किया, परंतु कहते हैं न कि भावनाएं अधिक प्रबल होती हैं। यहां भावनाओं ने यथार्थ पर विजय पाई। अनिल रस्तोगी जी के भीतर की कला ज़ोर मारने लगी। आखिर ज्वालामुखी का विस्फोट हुआ और कला प्रखर रूप से सामने आई। इस तरह अनिल रस्तोगी जी का एक और रूप सामने आया और एक वैज्ञानिक, कलाकार भी बन गया।

थिएटर और अभिनय का संसार

अभिनय के क्षेत्र में आपने अपना सिक्का जमा कर दिखा दिया। अनिल रस्तोगी जी का व्यक्तित्व यथार्थ एवं भाव दोनों से प्रखर रूप से भरा हुआ है। आज अनिल रस्तोगी जी अभिनय क्षेत्र में एक जाना माना नाम है। मैंने “चुभन पॉडकास्ट” पर वैज्ञानिक और अभिनेता अनिल रस्तोगी जी से एक संवाद किया।

निश्चित रूप से कहा जा सकता है कि आपने यथार्थ से भाव तक की यात्रा पूर्ण की है। उन्होंने दोनों ही क्षेत्रों में नए आयाम स्थापित किये हैं और उनका यह सफर अभी भी अनवरत जारी है।

उनके आरंभिक जीवन की यदि बात करूं तो आप जूनियर रिसर्च फेलो के रूप में CDRI में शामिल हुए। इसी संस्थान से बायोकेमिस्ट्री के प्रमुख और डायरेक्टर ग्रेड साइंटिस्ट के रूप में सेवानिवृत्त भी हुए। इस क्षेत्र में भी आपकी काफी उपलब्धियां रहीं। बहुत सी ज़िम्मेदारियों का भी आपने निर्वहन किया।

अनिल रस्तोगी जी पिछले 63 वर्षों से थिएटर से जुड़े हुए हैं। यह बात लिखने में भी गर्व की अनुभूति हो रही है कि आप अभिनेता के तौर पर हमारे देश के ऐसे सबसे वरिष्ठ कलाकार हैं, जिन्होंने थिएटर, रेडियो, टेलीविजन और फ़िल्म, चारों में अपना उत्कृष्ट प्रदर्शन किया। जो अभी भी जारी है।

आपने पूरे देश मे 98 नाटकों के 1000 शो किये और आप 46 से अधिक वर्षों तक भारत के सबसे पुराने रंगमंच समूहों में से एक ‘दर्पण’ के सचिव भी रहे। यानि थिएटर की एक दुनिया मानो आपके अंदर समा गई है।

दूरदर्शन और लोकप्रिय धारावाहिक

दूरदर्शन पर भी 1975 से ही आपने अपने अभिनय का प्रदर्शन प्रारंभ कर दिया था। आपके लोकप्रिय धारावाहिक जिन्होंने उन्हें घर घर मे, हर मन के अंदर एक पहचान, एक जगह दिलाई। ‘उड़ान’, ‘बीबी नातियों वाली’, ‘न बोले तुम न मैंने कुछ कहा’ आदि बहुत लोकप्रिय हुए।

इन चरित्रों की लोकप्रियता का आलम यह था कि अनिल रस्तोगी जी को उनके नाम से ही नही, वरन इन चरित्रों के नाम से भी पहचान मिली।

फिल्मों और OTT पर प्रदर्शन

उन्होंने OTT पर भी प्रदर्शन किया। जिसमें से प्रकाश झा जी की फ़िल्म ‘आश्रम’ का ज़िक्र अवश्य करना चाहूंगी, जिसमें आपके मुख्यमंत्री के रोल ने बहुत प्रसिद्धि पाई।

उनकी फिल्मों की बात करूं तो कहना ही पड़ेगा कि उन्होंने बहुत ही संजीदा किरदार और अलग अलग प्रकार के चरित्रों को अपने अभिनय से जीवंत कर दिया। उनकी बहुत सी फिल्मों को अवार्ड भी मिले। जैसे उनकी ‘मुक्ति भवन’ को 30 अंतरराष्ट्रीय और राष्ट्रीय पुरस्कार मिले। कुछ फिल्में और उनमें निभाए उनके किरदारों ने भी बहुत चर्चा प्राप्त की। ‘इशकजादे’, ‘दीन दयाल’ , ‘राम राज्य’ फ़िल्म में अशोक सिंघल जी का रोल, ‘Accidental Prime Minister’, ‘बाटला हाउस’ आदि आदि।

श्याम बेनेगल, प्रियदर्शन, तिग्मांशु धूलिया, सुधीर मिश्रा जैसे डायरेक्टर्स के साथ भी आपने काम किया। अनिल जी स्वयं को ‘डायरेक्टर का एक्टर’ कहते हैं।

टीवी कमर्शियल्स

TV कमर्शियल भी आपने किये।महानायक अमिताभ बच्चन जी के साथ ‘कौन बनेगा करोड़पति’ के प्रोमो में अभिनय किया।

समाज सेवा और सम्मान

एक वैज्ञानिक और कलाकार के अतिरिक्त हम समाज सेवी के रूप में भी आपके व्यक्तित्व को देखते हैं। उनके व्यक्तित्व के इस रूप को देखकर बहुत से लोगों को प्रेरणा मिलती है।

वैज्ञानिक और कलाकार, दोनों ही रूपों में उन्हें बहुत से सम्मानों से भी सम्मानित किया गया है। अभी राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू जी द्वारा उन्हें ‘अकादमी अवार्ड 2023’ से सम्मानित किया गया।

शुभकामनाएं

‘चुभन’ की तरफ से अनिल रस्तोगी जी के लिए यही शुभकामनाएं कि आप स्वस्थ और दीर्घायु हों और अभिनय क्षेत्र में नित नए आयाम हासिल करें।

फोटो साभार डॉ. अनिल रस्तोगी जी के सौजन्य से।

Knowledge Links:

Reading Links:

3 thoughts on “अनिल रस्तोगी : विज्ञान और अभिनय की दुनिया के महारथी

  1. – डॉ. अनिल रस्तोगी जी का चुभनटुडे में डॉ. भावना घाई जी का साक्षात्कार एवम् वार्तालाप बहुत अद्भुत रहा।
    – विज्ञान और अभिनय दो विभिन्न विधाओं में उनका योगदान अभूतपूर्व है। उन पर माँ सरस्वती की विशेष कृपा और आशीर्वाद तो रहा ही है लेकिन उसे निभाना व्यक्ति के जुनून पर निर्भर होता है कि वो ख़ुद को कितना डुबाए, क्योंकि जितने गहरे गोते एक बहुमुखी प्रतिभा सम्पन्न उसमें लगाता है उसे उतनी ही ईश्वरीय शक्ति मिलती है एवम् पुरस्कार भी, इस बात को मैं वैज्ञानिक और साहित्यकार के नाते भलिभाँति महसूस कर सकता हूँ।
    – अनिल जी के अनुभवों से यक़ीनन सकारात्मक ऊर्जा मिली और सभी को मिलेगी, विशेषकर युवावर्ग अपनी अपनी यात्रा में उनसे प्रोत्साहित होकर कला में अपना सर्वस्व न्योछावर करके अंतर्मन का आनंद प्राप्त करेंगे।
    – अनिल जी और भावना जी को हृदय से धन्यवाद की हमें अनिल जी को सुनने और देखने का अवसर प्राप्त हुआ।
    – पुनः हार्दिक अभिनंदन और आभार।
    कमल 🪷👏

  2. “अनिल रस्तोगी जी न केवल एक बेहतरीन अभिनेता हैं, बल्कि उनकी कला और विज्ञान में अद्वितीय समझ ने उन्हें एक विशिष्ट पहचान दी है। उनकी अभिनय यात्रा प्रेरणादायक है, और उनके द्वारा निभाए गए संजीदा किरदार हमेशा यादगार रहेंगे। उन्होंने थिएटर, टीवी, फिल्म, और OTT में अपनी प्रतिभा का लोहा मनवाया है। आपको अभिनय क्षेत्र में ऐसे ही नए आयाम हासिल करते देखना बहुत गर्व की बात है। आपके योगदान के लिए दिल से सम्मान और शुभकामनाएं।”

  3. विज्ञान और कल का समन्वय बड़ी मुश्किल से मिलता है रस्तोगी जी में यह दोनों छलक रहे हैं और उनकी इस अद्भुत प्रतिभा को और कौशल्या को प्रणाम डॉ नारदी पारेख

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back To Top